लूटतंत्र के एक और प्यादे की गिरफ्तारी | कूटनीति का शिकार
Arrest of Political Leader [ Another Pawn ] of Plunder System | A Victim of Diplomacy
| व्युचक्र । व्यसन । व्यवस्था |
केजरीवाल की गिरफ्तारी एक नजर में क्या कहती है यह राजनैतिक, कूटनीति व छद्मनीति के तहत एक
व्युचक्र । व्यसन । व्यवस्था का परिणाम ?
इन तीनों ही दृष्टिकोण के इस पर इसकी चर्चा की जा सकती है।
इस सृष्टि का एक नियम है –
“” कुछ पाने के लिए कुछ दाव पर लगाना ही पड़ता है। “”
प्रथम दृष्टया में –
केजरीवाल ही इस पूरी स्क्रिप्ट का हीरो भी है, बाजीगर भी है और सिकन्दर भी।
यह गिरफ्तारी पूर्व में ही निश्चित थी ?
– समय काल
– घटनाक्रम
ये दोनों ही केजरीवाल ने ही निर्धारित किये हैं ?
आज की तिथि तक इस असली खेल का सूत्रधार सिर्फ एक किरदार केजरीवाल ही है ? विपक्षी दल भाड़े के मजदूर और तमाशबीन नजर आते हैं ?
बहुत से पहलू हैं जो केंद्र में –
दुश्मन का दुश्मन दोस्त नजर आता है यानि विपक्षी मत की कमजोरी को अपनी ताकत मान लेना आदि कि मानसिकता को ध्यान में रखकर की गई इरादतन लूट का व्युचक्र
या राजनैतिक व्यवस्था में रचा बसा गोरखधंधा यानि विरोधी की गंदगी को अपनी निर्मलता का प्रमाण मान लेने का व्यसन
या पार्टी तंत्र को चलाने के लिए अपनाई गई अनैतिक व्यवस्था
या फिर वास्तविकता में केजरीवाल भी कल का वलोडिमिर ज़ेलेंस्की ही है।
एक नजर केजरीवाल की अति कुशाग्रबुद्धि, छद्म राजनीति और चालाक कूटनीति ने अभी तक अपने विरोधियों को चारों खाने चित किया है
पर इस दिनों में शीशमहल, जलबोर्ड और शराब कांड ने राजनीति में सुचिता पर भी प्रश्न चिन्ह लगाया है|
और आज एक कमजोर क्रांतिकारी सत्ता लालची और रणछोड़ नैतिक मूल्यधर्ता का तमगा भी लेने को तैयार है।
इसे सत्ता की मजबूरी कहें या छद्म आचरण का मखौटा ?
These Valuable are views on Arrest of Political Leader [ Another Pawn ] of Plunder System | A Victim of Diplomacy
लूटतंत्र के एक और प्यादे की गिरफ्तारी | कूटनीति का शिकार
“” बुरा ना मानो होली है “”
Above 25 march and below 26 march 2024
I am going try to Prove above it.
Target Sympathy Game
उसके लिए उनकी
पहली चाह – खुद काम न करने की छटपटाहट दिखाते हुए प्रशासनिक कार्यों में अस्थिरता, अस्तव्यस्तता और असन्तोष पैदा करवाने की कोशिश जिससे पूर्व की नाकामियों का सारा ठीकरा विपक्षी नेताओं पर फोड़ा जा सके।
दूसरी चाह – राष्ट्रपति शासन
तीसरी चाह – Court उन्हें ज्यादा से ज्यादा समय के लिए जेल में रखे विशेषकर लोकसभा चुनाव तक
एकमात्र लक्ष्य –
“” चौथी बार फिर से मुख्यमंत्री के पद की दावेदारी को पुख्ता करना। उनका लक्ष्य लोकसभा चुनाव है ही नहीं। जो मिले वह उनके लिए भगवान का प्रसाद है इससे ज्यादा कुछ नहीं “”
9 अप्रेल 2024 को जोड़ीं गई पंक्तियाँ –
मेरे कथन की सत्यता प्रतीत होती होने के पीछे वर्तमान में घटित होते घटनाक्रम –
1. विदेशी अखबारों में अंतर्राष्ट्रीय कूटनीति के तहत छपती सहानुभूति व राजनैतिक स्वतंत्रता की दुहाई।
2. केजरीवाल की जेल का जवाब वोट से की चुनावी कैम्पेन आम आदमी पार्टी द्वारा शुरू करवाना।
3. आदरणीय न्यायालय द्वारा उनके न्यायिक हिरासत को चुनौती देती याचिका खारिज करते हुए दिये गये तर्क व उनकी मंशा जिसमें राजनैतिक रंग देने की हेतु की गई ED नोटिस की बार बार अवहेलना।
उपरोक्त बिंदुओं में इस धरती का सबसे बड़ा तेज तर्रार व छद्म राजनीतिज्ञ कोई है तो वह केजरीवाल ही है उनका प्रमुख एकमात्र लक्ष्य है। चौथी बार मुख्यमंत्री बन सकना है और दूसरा लक्ष्य अग्रिम लोकसभा चुनाव में विपक्ष का चेहरा बनना भर है।
लोक सभा की हार का ठीकरा जेल को देना और अपने साथियों की एकमात्र आस बनना।
मानस जिले सिंह
【यथार्थवादी विचारक 】
अनुयायी – मानस पंथ
उद्देश्य – मानवीय मूल्यों की स्थापना हेतु प्रकृति के नियमों का यथार्थ प्रस्तुतीकरण में संकल्पबद्ध योगदान देना।
zile bhai aap ke soch ke ghodi ko dharatal pe Lao, aasaman me niradhar ud rahe hai😅😶
Good