“” कर्म की परिभाषा ”” या “‘ कर्म क्या है “”
“” Definition of Act “” or “” Meaning of Destiny “”
“” कर्म “”
“” जीवन जीने हेतु किये जाने वाले क्रियाकलापों को कर्म कहा जाता है। “”
“” सामाजिक, धार्मिक एवं अर्थिक तौर पर किया जाने वाला आचरण जो व्यक्तित्व निर्माण में सहायक सिद्ध हो वे कर्म कहलाते हैं। “”
“” ऐसे आचार विचार जो जीवन जीने के दिशा निर्देश तय करने के साथ स्वयं की जवाबदेहिता भी तय करें तो वे कर्म कहलाते हैं। “”
सामान्य परिप्रेक्ष्य में –
वैसे “” क “” से क्रियाकलाप
“” र् “” से रचना
“” म “” से माध्यम
“” क्रियाकलाप रचने का माध्यम ही कर्म कहलाता है। “”
वैसे “” क “” से क्रमानुसार
“” र् “” से रोपण
“” म “” से मर्म
“” क्रमानुसार रोपण हो जहां मर्म का तो वे कर्म कहलाते हैं। “”
मानस की विचारधारा में –
“” आशाओं को पूरा करने हेतु क्रमबद्ध प्रयास भी कर्म कहलाता है। “”
“” पुरुषार्थ को जीवंत रखने हेतु किये जाने वाले यत्न भी कर्म कहलाते हैं। “‘
—- “” स्वावलंबन के चरितार्थ हेतु सार्थक प्रयत्न भी तो कर्म कहलाते हैं। “” —-
“” माना जाता है कि सृष्टि में कर्म प्रधानता ही सर्वव्यापी, सर्वोपरि व सर्वमान्य रही है।
आदिकाल में कर्म के आधार पर वर्ण व्यवस्था की सरंचना भी इसकी पुष्टि करती है।
वर्तमान समय और भविष्य की संकल्पना में व्यक्ति के गुणों के आधार पर ही समाज की पुनर्संरचना सम्भव है। “”
These valuable are views on Definition of Act.
मानस जिले सिंह
【 यथार्थवादी विचारक】
अनुयायी – मानस पँथ
उद्देश्य – सामाजिक व्यवहारिकता को सरल , स्पष्ट व पारदर्शिता के साथ रखने में अपनी भूमिका निर्वहन करना।
Nice explanation
सुन्दर अभिव्यक्ति 🙏👌🙏
कुछ नहीं बचता इस जहां से जाने के बाद,
बची रहती है तो बस सबके कर्मों की कहानियां।।