“” अपेक्षा की परिभाषा “” Or “” अपेक्षा का अर्थ “”
“” Definition of Expectation “” or “” Meaning of Hope “”
“” अपेक्षा “”
“” ऐसी मनोस्थिति जहां दूसरे से लाभान्वित या सराहना की आस बनी रहती हो, अपेक्षा कहलाती है। “”
“” सहयोग की भावना से आकांक्षित रहने की मनोवृत्ति ही अपेक्षा कहलाती है । “”
वैसे “” अ “” से अहसान जहां लेने की परम्परा बन जाये ,
वहाँ खुद पर भरोसा धीरे -धीरे कम होने लगता है ;
“” प “” से प्रार्थना जहां आदत में शुमार रहती हो,
वहाँ निर्भीकता में भी लचीलापन होना स्वभाविक है ;
“” क्ष “” से क्षमा जहां नाटकीय जीवन का अटूट हिस्सा बन जाये,
वहाँ अति उदार /लापरवाह / आलसी होना स्वभाविक है ;
वैसे अहसान व प्रार्थना जहां व्यवहारिकता में अधिक हो ,
वहाँ क्षमा में आस की प्रभुत्वता बनी रहती है, इसे ही अपेक्षा कहते हैं ।
“” अपेक्षा एक हद तक उचित व
हद के उपरांत आलस्य व लाचारी को बढ़ाती है ,
अतः अति अपेक्षा का त्याग कर दायित्वों का निर्वहन करें तो अधिकार स्वतः ही मिल जाते हैं । “”
“” यही स्वस्थ सामाजिक परम्परा भी है
और मानस की विचारशक्ति भी “”
मानस जिले सिंह
【यथार्थवादी विचारक 】
अनुयायी – मानस पंथ
उद्देश्य – मानवीय मूल्यों की स्थापना हेतु प्रकृति के नियमों का यथार्थ प्रस्तुतीकरण में संकल्पबद्ध योगदान देना।
विस्तृत एवं सटीक व्याख्या