Thursday, June 1, 2023

Definition of Manas | मानस की परिभाषा

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मानस की परिभाषा | मानस का अर्थ
Definition of Manas | Manas Ka Arth | Manas Ki Paribhasha

 

मानस का भावार्थ —-

“” एक आध्यात्मिक विचार “”
            दूसरे शब्दों में :-
मान+ स
मान = घमंड / अभिमान
स = संघार / संहार
 
        सरल शब्दों में –
” जिसे अपने कर्म के साथ साथ प्रकृति के नियम में विश्वास व अहसास हो मानस कहलाता है। “
 
        दूसरे शब्दों में :-
“” जो मानवीय मूल्यों को आदर्श मानने के साथ जीवन में उन्हें परिलक्षित भी करता हो उसे मानस कहते हैं।””
 
यानि जिसके मान का संहार हो चुका हो वह मानस कहलाता है।
मा + अनस
मा = जन्मदात्री , जन्म के पश्चात पालन पोषण से लेकर सामाजिक जीवन शैली सिखाते हुये शिक्षा प्रदात्ती तक सफर करने वाली शुद्ध आत्मा
अनस = मित्रता
 
        अन्य शब्दों में :-
जो माता पिता को ईश्वर तुल्य मानकर सभी से मित्रवत व्यवहार करता हो वह मानस कहलाता है।
 
“” जो शिक्षा, समानता और स्वावलंबन में विश्वास के साथ – साथ चरितार्थ करने को ही प्राथमिकता दे, वही तो मानस कहलाता है। “”
 
“” जिसे प्रकृति की मुस्कान में ही खुदा के वजूद का भान हो, वही मानस कहलाता है। “”
 
“” जिसके कर्म में सिर्फ निश्छलता, स्पष्टता व ईमान के गुणों की प्रधानता हो वही तो मानस कहलाता है। “”
 
“” मात्र यह एक परिभाषा नहीं है यह मानव मात्र के जीवन को परिलक्षित करती हुई विचारधारा है। “”
 
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मानस की परिभाषा | मानस का अर्थ 
 

मानस जिले सिंह
【 यथार्थवादी विचारक】
अनुयायी – मानस पँथ
उद्देश्य – सामाजिक व्यवहारिकता को सरल , स्पष्ट व पारदर्शिता के साथ रखने में अपनी भूमिका निर्वहन
करना।

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Sanjay Nimiwal
Sanjay
4 months ago

सुन्दर अभिव्यक्ति 🙏👌🙏

मानस एक ऐसी विचारधारा ….

जिससे व्यक्ति, समाज मे अनुशासन कायम हो।

Juneja juneja
Sandeep juneja
4 months ago

मानस शब्द की उत्पति रामचरितमानस से हुई मानता हूं क्यों कि उसमें आप की डेफिनिशन के अनुसार ही मिलता है…

Devender
Devender
4 months ago

जिसके कर्म में………. वही तो मानस कहलाता है।।।

जबर्दस्त लिखा है बड़े भाई

शानदार लेखन।।

Sarla Jangir
Sarla Jangir
4 months ago

माला फेरत जुग भया ,पंडित भया न कोए।

कर का मनका डार दे ,मन का मनका फेर।।

कबीर के इस दोहे में भी यही संदेश है कि इंसान को अपने मन में मंथन करना चाहिए। मेरे अनुभव में मानस एक विचारधारा नहीं है,यह एक भाव है जो मनुष्य को सही दिशा गमन के लिए आंदोलित करता है ।

Mahesh Soni
Member
4 months ago

नकल कर लो भले ही तुम हमारे काम की,
पर अकल हमारी हमारे पास।
आओगे तुम इक दिन,
जब बनवाना तुम्हें कुछ खास है।
यही हमारी पहचान है, यही हमारा राज है।

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