कर्म की परिभाषा | कर्म क्या है | कर्म का अर्थ
Definition of Perform | Meaning of Act | Karma Kya Hai | Karma Ka Arth
Definition of Perform | Meaning of Act | Karma Kya Hai | Karma Ka Arth
एक फिर नये अंदाज में – “” कर्म “”
“” अपेक्षित परिणामस्वरूप किये जाने वाले प्रयत्न ही कर्म कहलाते हैं। “”
“” आकांक्षा की पूर्ति हेतु किये जाने वाले प्रयास ही कर्म कहलाते हैं। “”
वैसे मानस के अंदाज में —
“” क “” से कर्त्तव्यनिष्ठा जहां जीवन की सर्वोच्च प्राथमिकता में दर्ज हो,
वहाँ आदर्श व्यक्तित्व का निर्माण होना लाज़मी हो जाता है ;
“” र “” से रति जहां हर विचार से होने लगे तो,
वहाँ कार्य की दक्षता अपने चरम पर होती है ;
“” म “” से महत्वाकांक्षा जहां हर वक़्त पूरी करने की धुन सवार हो,
वहाँ निश्चय ही अभूतपूर्व परिणाम आते हैं ;
“” वैसे महत्वाकांक्षा को पूरा करने की रति जहां कर्त्तव्यनिष्ठा से हो उसे, वहाँ “” कर्म “” कहते हैं। “”
“” स्वप्न को यथार्थ में परिवर्तन करने हेतु किया गया परिश्रम ही कर्म कहलाता है। “”
“” इंसान से महान व्यक्तित्व के धनी बनने तक हर संघर्ष कर्म ही तो है। “”
“” सोने को कुंदन बनने के लिये बार – बार तप से गुजरना पड़ता है, ठीक उसी तरह मेरे हर लेखन में आपकी प्रतिक्रिया मुझे एक यथार्थवादी विचारक बनाने में मदद करेगी।””
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कर्म की परिभाषा | कर्म क्या है | कर्म का अर्थ
मानस जिले सिंह
【 यथार्थवादी विचारक】
अनुयायी – मानस पँथ
उद्देश्य – सामाजिक व्यवहारिकता को सरल , स्पष्ट व पारदर्शिता के साथ रखने में अपनी भूमिका निर्वहन करना।
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सराहनीय 'मानस' लेखन कार्य (कर्म)।।
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