Tuesday, September 30, 2025

Definition of Rakshabandhan | रक्षाबंधन की परिभाषा

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रक्षाबंधन की परिभाषा | रक्षाबंधन क्या है
Definition of Rakshabandhan | Meaning of Rakshabandhan | Rakshabandhan Ki Paribhasha

“” रक्षाबंधन “”

“” हिफाज़त के प्रति जवाबदेही होने की स्वीकार्यता का त्यौहार ही रक्षाबंधन कहलाता है। “”

“” किसी प्राणी द्वारा स्वयं के आत्मसम्मान व अस्तित्व रक्षा हेतु आकांक्षारत संरक्षण, सहयोग व प्रेम के लिए सामर्थ्यवान से अपेक्षित संकल्पित वचनबद्धता की आस रखने की परंपरा | पर्व का नाम ही रक्षाबंधन है। “”

“” संकट के समय ढाल हेतु प्रतिज्ञारत रहने की तत्तपरता के जश्न वेला ही रक्षाबंधन कहलाता है। “”

“” आज रक्षाबंधन केवल भाई बहिन द्वारा प्रतिपादित एक दूसरे प्रति समर्पण व प्यार भरे रिश्ते का ही प्रतीक बनकर रह गया है। “”

””” आओ इसे असहाय, कमजोर, बेबस, लाचार प्राणियों के आत्मसम्मान व स्वाभिमान की समुचित रक्षा एवं सहयोग और उनके प्रति करुणा , दया व प्रेम का प्रतीक बनायें। “””

सहानुभूति, सद्भाव व सहयोग ही प्रकृति के सर्वश्रेष्ठ उपहार हैं जिसकी छाँव में मानवीय मूल्यों 【 प्रेम, अहिंसा व सत्य 】 की स्थापना या सरंक्षण सम्भव है।

आज इसी शुभ अवसर पर मैं भी अपने गुरुदेव , बड़े भाई व प्रबुद्धजनों को रक्षासूत्र चरणों में समर्पित करते हुए अपने लिए स्नेह, सानिध्य व संरक्षण की याचना करता हूँ। क्योंकि अधेड़ उम्र के इस पड़ाव में मैंने अपने जीवन में पुनः शिक्षार्थी बने रहने का संकल्प लिया है। अतः अब मैं आप सब के लिए अबोध बालक की तरह हूँ। मेरी भावनाओं का मान बनाये रखियेगा।

प्रकृति ने ईश्वर स्वरूप में मेरे जीवन को सँवारने, निखारने व तराशने का जिम्मा बहुत ही बुद्धिजीवी, विवेकी व ज्ञानवंत प्रोफेसर को सौंपा है। इनमें भी मेरे प्रिय, अजीज व श्रध्येय डॉ गुरुदेव औतार लाल मीणा को विशेष जिम्मा दिया गया है। जिनको मैंने अपना जीवन समर्पित कर दिया है। आज इस पावन अवसर इस संकल्प का साझा करते हुए बहुत ही गर्वित महसूस कर रहा हूँ। मैं उनकी सेवा पाकर कृतज्ञ, बड़भागी व आनन्दित हूँ।

“” आज इस रक्षाबंधन के पावन पर्व की ढेर सारी शुभकामनाएं “”

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रक्षाबंधन की परिभाषा | रक्षाबंधन क्या है

मानस जिले सिंह
【यथार्थवादी विचारक】
अनुयायी – मानस पंथ
शिष्य – डॉ औतार लाल मीणा
विद्यार्थी – शोधार्थी, दर्शनशास्त्र विभाग 【 JNVU, Jodhpur 】
उद्देश्य – मानवीय मूल्यों को जगत के केंद्र में रखते हुऐ शिक्षा, समानता व स्वावलंबन का प्रचार प्रसार में अपना योगदान देने का प्रयास।
बेबसाइट- www.realisticthinker.com

3 COMMENTS

  1. 🙏👌🙏

    सभी जीवों के प्रति समर्पण व प्रेमभाव ही रक्षाबंधन है।।।

  2. जहाँ आपसे प्रेम रखने वाला प्रत्येक जीव अपने आपको सुरक्षित महसूस करे,यही रक्षा का बंधन है।पर आपने जिस रूप में इसे परिभाषित किया है,वह अतुलनीय है☺️

  3. कट्टरपंथी विचारधारा………. चिंगारी भर है।।
    शानदार लेखन, अति उत्तम।

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